मसूद अजहर को क्यों बचाने में लगा है चीन, जानिए 4 वजह

जैश -ए-मोहम्मद आतंकी संठगन का सरगना मसूद अजहर को चीन ने फिर एक बार अंतर्राष्ट्रीय आतंकी घोषित करने से बचा लिया। इसके दूसरी ओर, यूएनएससी के अन्य सदस्यों ने इस प्रस्ताव पर हामी भरी है लेकिन चीन के वीटो पावर के इस्तेमाल से यह प्रस्ताव गिरा दिया गया। हालांकि वैश्विक तौर पर यह आतंकवाद के खिलाफ भारत की बड़ी हार है लेकिन चीन के अलावा सभी देशों ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया है, यह भारतीय दृष्टिकोण से अच्छा माना जा रहा है। आखिर चीन ने मसूद अजहर को क्यों बचाया, इस बाद की 4 प्रमुख वजह हैं। आइए जानते हैं इन सभी वजहों के बारे में…

1. पाकिस्तान में चीन सीपैक में 3.8 लाख करोड़ रुपए का निवेश करने वाला है। इसके अलावा कई प्रोजेक्ट्स में 3.2 लाख करोड़ रुपए खर्च कर चुका है। यही नहीं, पाक में पंजीकृत विदेशी कंपनियों में सबसे अधिक 77 कंपनियां चीन की हैं। कहा जाए तो चीन की एक बड़ी अर्थव्यवस्था पाक पर निर्भर है।

2. मौजूदा समय में चीन की अर्थव्यवस्था का सबसे बड़ा आर्थिक प्रतिद्वंद्वी भारत है। ऐसे में चीन कभी नहीं चाहेगा कि भारत उससे आगे निकले। चीन यही चाहता है कि भारत द.एशिया के अहम बिंदुओं पर ध्यान न देकर केवल घरेलू समस्याओं में उलझा रहे। अगर चीन मसूद के के खिलाफ जाता तो भारत मजबूत स्थिति में पहुंच जाता।

3. भारत-अमेरिका के संबंध शुरू से काफी अच्छे रहे हैं इसलिए चीन ने अजहर को हथियार बना लिया है। जैसा भारत अजहर मसूद को समझता है, ठीक वैसे ही चीन दलाई लामा को मानता है।

4. चीन में उईगर मुस्लिमों पर कई तरह के प्रतिबंध हैं। उन्हें खुले में नमाज पढ़ने तक की इजाजत नहीं है। सबसे खास बात यह है कि इस्लामिक सहयोग संगठन के देशों में इकलौता पाकिस्तान ही ऐसा देष है जो इन प्रतिबंधों को सही मानता है। इस मोर्चे पर चीन को पाक की जरूरत है और चीन चाहकर भी पाकिस्तान के हक वाले फैसले के खिलाफ नहीं जा सकता।

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