क्रिकेट के भगवान सचिन तेंदुलकर का जन्मदिन आज, पूरे किए उम्र के 48 बसंत

  • पाकिस्तान के धुरंदर गेंदबाजों के सामने जब इस 16 साल के लिटिल मास्टर ने डेब्यू किया तो किसी को नहीं पता था कि ये छोटे कद का लड़का बाद में क्रिकेट का भगवान बन जाएगा.

NewsBreatheTeam. क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) आज अपना 48वां जन्मदिन मना रहे हैं. सचिन तेंदुलकर का जन्म आज ही के दिन यानी 24 अप्रैलए 1973 को मुंबई में हुआ था. महज 16 साल की उम्र में भारत की ओर से क्रिकेट में डेब्यू करने वाले सचिन ने 24 साल के अंतरराष्ट्रीय सफर में कई ऐसे कीर्तिमान रचे कि उन्हें क्रिकेट के भगवान (God of Cricket) का दर्जा दे दिया गया. इस 5 फीट 5 इंच कद के बल्‍लेबाज ने 22 गज की पिच पर 24 साल तक एकछत्र राज किया. महान विव रिचर्ड्स और सुनील गावस्‍कर को अपना आदर्श मानने वाले तेंदुलकर ने इन दोनों बल्‍लेबाजों के सबसे मजबूत पक्षों को अपने में समेटा और बल्‍लेबाजी का तरीका बदल दिया. तेंदुलकर की बल्‍लेबाजी में जबर्दस्‍त आक्रमकता थी और साथ ही साथ वह तकनीकी रूप से बेहद मजबूत थे.

पाकिस्तान के धुरंदर गेंदबाजों के सामने जब इस 16 साल के लिटिल मास्टर ने 1989 में डेब्यू किया तो किसी को नहीं पता था कि ये छोटे कद का लड़का बाद में क्रिकेट का भगवान बन जाएगा. सचिन ने 15 नवंबर, 1989 को पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में डेब्यू किया था. सचिन के नाम इंटरनेशनल क्रिकेट में 34357 रन दर्ज हैं. उनके नाम टेस्ट में 15921 रन और वनडे क्रिकेट में सर्वाधिक 18426 रन बनाने का रिकॉर्ड भी हैं. सचिन 2003 में उपविेजेता और 2011 में विष्व विेजेता बनी भारतीय टीम के सदस्य रह चुके हैं.

पहले मुकाबले में 15 रन बनाने वाले सचिन तेंदुलकर ने उसी सीरीज के सियालकोट टेस्ट में कुछ ऐसा कारनामा किया जिसके बाद दिग्गज खिलाड़ियों ने सचिन को लंबी रेस का घोड़ा बता दिया. सियालकोट में खेले गए आखिरी टेस्ट मैच में जब सचिन बल्लेबाजी कर रहे थे तो वकार यूनिस की गेंद जाकर सचिन के नाक पर लगी. उनका चेहरा लहूलुहान हो गया. वो गिरे मेडिकल स्टॉफ मैदान की दौड़ा पर उन्होंने मदद से इंकार किया.

सचिन की ऐसी हालत देखकर पाकिस्तान के दिग्गज तेज गेंदबाज वसीम अकरम सोच रहे थे कि शायद इतना घायल होने के बाद सचिन क्रीज छोड़कर चले जाएंगे लेकिन ऐसा नहीं हुआ. सचिन ने पट्टी बांधी और अगले ओवर में वकार यूनुस की गेंद पर दो शानदार चौके लगाए. उस मैच में उन्होंने 57 रन की बेहतरीन पारी खेली और करीब करीब हारा हुआ मैच ड्रा करा दिया. महज 16 साल की उम्र में सचिन ने जो हौसला दिखाया उसके आगे वर्ल्ड क्लास पाकिस्तानी गेंदबाज भी पस्त हो गए. यही से मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर की साहसिक क्रिकेट जर्नी की शुरूआत हुई.

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यहीं से शुरू हुआ 16 साल के खिलाड़ी का वो सफर जो आगे जाकर क्रिकेट की दुनिया का सबसे महान बल्लेबाज बना. जल्दी ही सचिन तेंदुलकर ने अपने बल्‍ले से वो कमाल कर दिखाया था कि दुनिया उनकी दीवानी हो चुकी थी. भारतीय क्रिकेट प्रेमियों ने एक जमाना वो भी देखा जब सचिन तेंदुलकर पर पूरी टीम निर्भर थी. अगर सचिन तेंदुलकर आउट हुए तो घरों में टीवी बंद हो जाती थी. सचिन तेंदुलकर को जितना प्‍यार देश से मिला, उतना ही इस खिलाड़ी ने देशवासियों को बदले में प्‍यार भी दिया. सचिन ने कभी शराब या ऐसी चीज का विज्ञापन नहीं किया जिससे लोगों के स्‍वास्‍थ्‍य को नुकसान हो. मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर ने 24 साल तक इंटरनेश्नल क्रिकेट को इतने शानदार तरीके से जिया कि क्रिकेट इतिहास का वो हर एक लम्हा अमर हो गया.

 

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